[the_ad id="9385"]
[the_ad id="9385"]

रसोईघर के वास्तु को ठीक करने के कुछ सरल उपाय

नया बिहार दर्पण

इन्द्र भूषण प्रसाद♦

रसोईघर भोजन निर्माण का केंद्र है और भोजन ही हमारे शारीरिक एवं मानसिक स्वास्थ्य का आधार है. अतः यदि रसोईघर सही एवं शुभ दिशा में स्थित हो तथा उसकी संयोजना वास्तुशास्त्र के नियमों के अनुकूल की गई हो, तो न केवल उसमें खाना बनाने वाला, बल्कि उस भोजन को ग्रहण करनेवाले परिवार के सभी सदस्यों पर भी गहरा प्रभाव पड़ता है. आइए जानते है रसोई से जुड़े वास्तु दोष के निवारण के लिए ये वास्तु उपाय.

वास्तु दोष निवारण टिप्स

रसोई बनवाते समय हमेशा इस बात का ख्याल रखें कि उसका दरवाजा कभी भी दक्षिण दिशा में न हो। अगर रसोई का दरवाजा किसी कारण दक्षिण की तरफ है तो तब आप वास्तु दोष को दूर करने के लिए रसोई के मुख्य द्वार में माँ लक्ष्मी जी की प्रतिमा को लगा सकते है। इससे वास्तु दोष का निवारण होता है।

रसोईघर का स्थान घर के दक्षिण-पूर्व (अग्नि) में होना चाहिए। यदि यह व्यावहारिक नहीं हो, तो आप इसे पूर्व क्षेत्र में भी रख सकते हैं।

रसोई के वास्तु दोष को दूर करने के लिए एक बहुत ही सरल और आसान उपाय है कि आप अपने रसोई के अग्निकोण यानी दक्षिण पूर्व दिशा में एक लाल रंग का Bulb लगाएं जब भी आप खाना बनाने जाएं तो इस बल्ब को जलाकर रखें। इससे आपके रसोई के वास्तु दोष दूर होगे और नकरात्मक उर्जा का वासा नहीं होगा।

अनाज रखने के लिए रसोई के दक्षिण और पश्चिमी क्षेत्रों का उपयोग करें। इन दिशाओं में जितना भी अधिक रसोई का सामान रखें, ताकि यह दिशा हमेशा भरी रहे।

कभी भी रसोई का चूल्हा घर के मुख्य द्वार से नहीं दिखाई देना चाहिए। अगर आपकी रसोई मुख्य द्वार के ठीक सामने है तो वास्तु दोष से बचने के लिए आप उनके बीच में एक मोटा-सा पर्दा लगा सकते है। जिससे लोगों की नज़र डायरेक्ट आपके रसोई घर में ना जा सके.

घर के द्वार पर आगे वास्तुदोष नाशक हरे रंग के गणपति को स्थान दें.  बाहर की दीवार�

[the_ad id="9389"]